BSNL और MTNL के विलय के फ़ैसले पर आया राहुल गांधी का बड़ा बयान, कहा “सरकार करना चाहती है…”

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प्रतीकात्मक तस्वीर

बीएसएनएल और एमटीएनएल के विलय की कड़ी आलोचना करते हुए कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने केंद्र सरकार पर आरोप लगाया है कि सरकार इन दोनों दूरसंचार कंपनियों को सस्ते दामों पर बेचने की तैयारी में है। राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि सार्वजनिक क्षेत्र की दोनों दूरसंचार कंपनियों को ‘क्रोनी कैप्टलिस्ट'(सांठगांठ वाले पूंजीपतियों) को सस्ते दामों पर बेचने की तैयारी की जा रही है।

राहुल गांधी ने केंद्रीय मंत्रिमंडल के फ़ैसले की आलोचना करते हुए ट्वीट किया कि “पहला क़दम- विलय, दूसरा क़दम-कुप्रबंधन, तीसरा क़दम-भारी घाटा दिखाना, चौथा-क़दम सांठगांठ वाले पूंजीपतियों को सस्ते दाम पर बेच देना” दरअसल, सरकार ने घाटे में चल रही सार्वजनिक क्षेत्र की दूरसंचार कंपनियों बीएसएनएल और एमटीएनएल के लिए 68,751 करोड़ रुपए के पुनरुद्धार पैकेज को मंजूरी दी थी। इसमें एमटीएनएल का बीएसएनएल में विलय, कर्मचारियों के लिए स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति योजना (VRS) और 4G स्पेक्ट्रम आवंटन शामिल है।

बता दें कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक हुई और दूरसंचार मंत्री रविशंकर प्रसाद ने पैकेज से जुड़ी जानकारियां साझा करते हुए कहा है कि बीएसएनएल और एमटीएनएल के विलय को मंजूरी दे दी गई है। विलय प्रक्रिया के पूरा होने तक एमटीएनएल प्रमुख दूरसंचार कंपनी बीएसएनएल की अनुषंगी के रूप में काम करेगी। पुनरुद्धार पैकेज में दोनों कंपनियों की तत्काल पूंजी ज़रूरतों को पूरा करने के लिए 15000 करोड़ के सरकारी बॉन्ड, 4G स्पेक्ट्रम के लिए 20,140 करोड़ रुपए, कर्मचारियों के वीआरएस के लिए 29,937 करोड़ रुपए और जीएसटी के तौर पर 3,674 करोड़ रुपए की राशि दिया जाना शामिल है।