यात्रियों के लिए SC का बड़ा फैसला, 31 मार्च तक एयरलाइंस लौटा सकेगी…

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कोरोनावायरस के इस दौर के दौरान लगे लॉक डाउन में लोगों को काफी नुक़सान हुआ। इस बीच सभी उड़ानों के सफर पर भी पाबंदी लगा दी गई थी। गौरतलब है कि उड़ान के रद्द होने से पहले ही बहुत से यात्रियों ने टिकट भी बुक कर लिए थे। उन यात्रियों को टिकट के पैसों की वापसी पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई चल रही थी और खबर के मुताबिक आज इस मामले पर फैसला सुनाया गया है। कोर्ट ने DGCA की 31 मार्च, 2021 तक क्रेडिट शेल की योजना को मंजूर किया. एयरलाइंस 31 मार्च तक रिफंड कर सकेंगे।

खबर के मुताबिक इस मामले में 3 दिन पहले ही सुनवाई पूरी हो चुकी है और आज इसपर फैसला सुनाया गया है। कोर्ट में मौजूद सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा, “हम सिर्फ यात्रियों को लेकर चिंतित हैं। अगर किसी ट्रैवल एजेंट ने एयरलाइंस के पास एडवांस में पैसे जमा करवाए हों, तो उस पर हमें कुछ नहीं कहना। टिकट की थोक खरीद नहीं की जा सकती है। यह एयरलाइंस और ट्रैवल एजेंट के बीच एक अनुबंध है। DGCA का इससे लेना-देना नहीं है।”
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अपनी बातों को जारी रखते हुए उन्होंने कहा कि “उक्रेडिट शेल स्कीम का लाभ ट्रैवल एजेंट को नहीं मिल सकता है। हम ट्रैवल एजेंट्स की निगरानी नहीं करते हैं।” वहीं दूसरी कोर्ट ने कहा कि कोई भी यात्री अपना क्रेडिट वाउचर किसी को भी ट्रांसफर कर सकते हैं। जस्टिस एमआर शाह ने सवाल किया कि अगर कंपनी यात्रियों के पैसे वापस करेगी तो कब तक करेगी। इस बात का जवाब देते हुए ट्रैवल एजेंट फेडरेशन की ओर से पेश हुए वकील ने कहा कि “CAR ट्रैवल एजेंट्स को रेगुलेट करती है। मुझे कोई दिक्कत नहीं है अगर ट्रैवल एजेंट्स के खाते में जमा राशि आती है और वह ट्रांसफर किए जा सकते हैं।”

एयरलाइंस के वकील ने कहा कि “हमारी माली हालत सही नहीं है। हम भी रिफंड करना चाहते हैं। ईंधन की कीमतें 78 फीसदी बढ़ गई हैं। RBI से हमको कोई राहत नहीं मिली है. हम अनिवार्य सेवा नहीं कर रहे हैं। हम 6 महीने में भुगतान नहीं कर सकते हैं। क्रेडिट शेल की अवधि 31 मार्च तक रखना अव्यवहारिक है। 30 सितंबर 2021 तक का समय मिले। तब तक अगर यात्री टिकट के बदले टिकट नहीं लेता तो हम पैसे लौटा देंगे।” हालाकि सुप्रीम कॉर्ट ने इस बात पर कहा कि ये कंपनी की परेशानी है इसके लिए यात्री क्यों परेशान हो?