हैदराबाद : कांग्रेसमें इस्तीफे का दौर थमने का नाम नहीं ले रहा है। गुलाम नबी आजाद के इस्तीफे के बाद पार्टी को एक और बड़ा झटका लगा है। तेलंगाना के कांग्रेस नेता और राज्यसभा के पूर्व सांसद एमए खान ने भी पार्टी से अपना इस्तीफा दे दिया है। खान ने कांग्रेस नेतृत्व और राहुल गांधी पर कई आरोप लगाए हैं।
कांग्रेस नेतृत्व को लिखे अपने इस्तीफे पत्र में एमए खान ने कहा कि G23 के वरिष्ठ नेताओं ने कांग्रेस के कल्याण और भलाई के लिए अपनी आवाज उठाई थी। लेकिन पार्टी नेतृत्व ने उनके इस कदम को नजरअंदाज किया। अगर पार्टी ने उन नेताओं पर भरोसा दिखाया होता और उनकी बात को महत्व दिया होता तथा पार्टी के लिए उनकी चिंता को समझा होता, तो शायद स्थिति आज अलग होतीं। उन्होंने आगे कहा कि मैं अपने छात्र जीवन से ही यानी 4 दशकों से ज्यादा समय तक पार्टी से जुड़ा रहा।
एमए खान ने कहा कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं को इस्तीफा देने के लिए मजबूर किया जाता है। शीर्ष नेतृत्व पार्टी के जमीनी कार्यकर्ताओं को दोबारा सक्रिय करने की दिशा में कोई कदम नहीं उठाता और पंडित नेहरू, इंदिरा गांधी, संजय गांधी एवं राजीव गांधी के नेतृत्व, उनकी प्रतिबद्धता और समर्पण के साथ देश की सेवा करने की बात करता है। यह सब देखने के बाद मेरे पास पार्टी को छोड़ने के अलावा कोई दूसरा विकल्प नहीं था। इसलिए मैं तत्काल प्रभाव से कांग्रेस पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से अपना इस्तीफा दे रहा हूं।