1.सिलक्यारा टनल पर प्रधानमंत्री की अध्यक्षता वाली कैबिनेट कमेटी की “एस्केप पैसेज” के प्रावधान को क्यों किया गया नज़रंदाज़ ?
2.सुप्रीम कोर्ट की हाई पावर कमेटी की सिफारिशों का क्यों किया गया उलंघन ?
3.सिलक्यारा आपदा के जिम्मेदारों पर अब तक कार्यवाही क्यों नहीं ?
क्या यह एक बड़ा “टनल घोटाला” है
-सूर्यकांत धस्माना
देहरादून : उत्तरकाशी के यमुनोत्री राष्ट्रीय राज मार्ग पर निर्माणाधीन सिलक्यारा सुरंग को 20 फरवरी 2018 को प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता वाली कैबिनेट कमेटी ऑन इकोनॉमिक अफेयर्स ने हरी झंडी दी जिसमें स्पष्ट रूप से एस्केप पैसेज का जिक्र है फिर ऐसे में बिना एस्केप पैसेज व आपातकालीन निकासी के निर्माण के बिना प्रधानमंत्री की कमेटी के निर्णय का उलंघन करते हुए कैसे साढ़े चार किलोमीटर की सुरंग बनाई जा रही थी यह सवाल आज प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय में आयोजित पत्रकार वार्ता में एआईसीसी सदस्य व प्रदेश कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना ने सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी व प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से किया। उन्होंने प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में 20 फरवरी2018 में हुई बैठक के बारे में जारी प्रेस इनफार्मेशन ब्यूरो भारत सरकार के प्रेस नोट को प्रेस को जारी करते हुए पूछा कि इस निर्णय के बाद क्या कारण है कि साढ़े चार किलोमीटर लंबी सुरंग में न तो एस्केप पैसेज न कोई आपातकालीन निकासी का प्रबंध किया गया था ?
धस्माना ने कहा कि ऊपर से पांच दिन पूर्व केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री उत्तरकाशी में सिलक्यारा टनल पर प्रेस के द्वारा पूछे गए आपातकालीन निकासी के सवाल पर इस चूक को स्वीकार करने की जगह जनता को गुमराह करने के लिए कह गए कि भविष्य में जो टनल बनेंगी उन में आपातकालीन निकासी की व्यवस्था होगी। धस्माना ने कहा कि पूरे चार धाम प्रोजेक्ट में सुप्रीम कोर्ट के द्वारा गठित हाई पावर कमेटी की सिफारिशों की भी अवहेलना की जा रही है और एमसीटी (मेन सेंट्रल थ्रस्ट ) वाले संवेदनशील क्षेत्रों में भी 5.5 मीटर की जगह 12 मीटर चौड़ाई का काम किया जा रहा जो भू धसाव और भूस्खलन का बड़ा कारण बन रहा है। उन्होंने सवाल किया कि सुप्रीम कोर्ट की हाई पावर कमेटी के दिशा निर्देशों की अव्हेलना किस की शह पर हो रही है ? सिलक्यारा सुरंग आपदा में जिम्मेदार किन किन लोगों एजेंसियों व कार्यदायी संस्थाओं पर अब तक क्या कार्यवाही हुई है इसका जवाब राज्य सरकार व सड़क परिवहन मंत्री को देना चाहिए। उन्होंने कहा कि अगर सरकार हमारे सवालों का जवाब नहीं देती तो इसका साफ मतलब है कि यह एक बड़ा “टनल घोटाला” है। धस्माना ने कहा कि कांग्रेस राज्य की सबसे बड़ी व जिम्मेदार विपक्षी पार्टी होने के नाते जनता की ओर से सरकार से यह वाजिब सवाल कर रही है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी का हर नेता व एक एक कार्यकर्ता ईश्वर से सिलक्यारा सुरंग आपदा में फंसे सभी 41 श्रमिकों के सुरक्षित निकल आने की प्रार्थना कर रहे हैं व रेस्क्यू आपरेशन में लगे सभी देश विदेश के एक्सपर्ट्स, एसडीआरएफ एनडीआरएफ,राज्य पुलिस व सिविल अधिकारी व कर्मचारियों को साधुवाद देते हैं व उनकी मेहनत की सफलता की कामना करते हैं।