उत्तर प्रदेश के हाथरस ज़िले में हुए गैंग रेप को लेकर अब काफी बातें सामने आ रही है। हर अगले दिन एक नई बात का ज़िक्र हो रहा है। अब खबर है कि इस मामले के मुख्य आरोपी संदीप ठाकुर (Sandeep Thakur) ने अलीगढ़ जेल से उत्तर प्रदेश पुलिस को एक चिट्ठी लिखी है। जिसमें वह अपने ऊपर लगे आरोपों को गलत बता रहे हैं और अपने साथ साथ बाकी 3 आरोपियों के लिए इंसाफ की मांग कर रहे हैं। यूपी पुलिस को लिखी इस चिट्ठी में उन्होंने लिखा कि वह बेकसूर हैं। उनके ऊपर गलत आरोप लगाकर उनको फंसाया जा रहा है।
उन्होंने अपनी इस चिट्ठी में लिखा कि उन्होंने और उनके साथ पकड़े गए तीनों आरोपियों ने कुछ गलत नहीं किया है। उनके और उनके साथियों के ऊपर गलत इल्जाम लगाए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि पीड़िता और वो दोनों अच्छे दोस्त से और एक दूसरे से मिलते भी थे कभी कभी फोन पर भी बात हो जाया करती थी। लेकिन ये बात उसके परिवार वालों को पसंद नहीं थी। जिसके चलते उसकी मां और भाई ने उनको मारा भी था। उन्होंने लिखा कि “घटना वाले दिन, मैं उससे खेतों में मिलने गया था, जहां उसकी मां और भाई भी थे। उसने मुझसे घर जाने को कहा तो मैं वापस चला आया। और जानवरों को चारा खिलाने लगा।”
आरोपी ने आगे लिखा कि “मुझे बाद में गांव वालों से पता चला कि उसकी मांग और भाई ने हमारी दोस्ती की वजह से उसकी पिटाई की और उसे बुरी तरह घायल कर दिया है। मैंने कभी उसे मारा नहीं था, न ही उसके साथ कुछ गलत किया था। उसके परिवार ने मुझे और तीन अन्य पर आरोप लगाकर हमें जेल भिजवा दिया। हम सभी निर्दोष हैं। हमारा आग्रह है कि इसकी जांच की जाए और हमें न्याय दिलाया जाए।” गौरतलब है कि संदीप और पीड़िता का भाई दोनों एक दूसरे को पहले से ही जानते थे।
कॉल रिकॉर्ड्स को देखते हुए यूपी पुलिस ने दावा किया है कि संदीप ठाकुर और पीड़िता का भाई ने पिछले साल अक्टूबर से लेकर इस साल मार्च तक 14 बार एक दूसरे से फोन पर बात की। वहीं दूसरी ओर पीड़िता के परिवार वालों ने एक न्यूज चैनल से बात चीत के दौरान इस आरोप को गलत बताया। पीड़िता के पिता ने कहा कि “मैंने अपनी बेटी को खो दिया है। हम वो हमपर कीचड़ उछाल रहे हैं। हम इससे डरते नहीं हैं। आरोप पूरी तरह से गलत हैं। हमें किसी तरह का कोई मुआवजा या फिर पैसा नहीं चाहिए, हमें न्याय चाहिए।”