इन क्षेत्रों में फिर हुआ लॉ’क डा’उन जारी, अधिकारियों की लापर’वाही पर होगी…

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कोरो’ना वाय’रस संक्रम’ण देश में तेज़ी के साथ फैलता जा रहा है और संक्रम’ण की रफ्तार को मद्देनजर रखते हुए देश के राज्य उत्तरप्रदेश की राजधानी लखनऊ में चार थाना क्षेत्रों में 24 जुलाई की रात 10 बजे तक लॉ’कडा’उन (Lockdown) लगाया गया है। ग्रेटर कंटेनमेंट जोन में शुमार होने वाला गाजीपुर, इंदिरा नगर, सरोजिनी नगर और आशियाना थाना क्षेत्रों में लॉ’कडा’उन लगाया गया है। जिलाधिकारी अभिषेक प्रकाश द्वारा कहा गया कि, लॉ’कडा’उन का सख्ती से पालन करवाया जाए और कहा कि, COVID-19 संक्र’मण को रोकने, टेस्टिंग, कांटेक्ट ट्रेसिंग, हॉस्पिटल मैनेजमेंट, कंटेनमेंट जोन आदि गतिविधियों में लगाए गए। अधिकारी और कर्मचारी कहीं भी शिथिलता करते पाए जाएंगे तो एपिडेमिक एक्ट की धारा 188 के अंतर्गत एफआईआर दर्ज होगी। साथ ही लापरवाही बरतने वाले सीधे जेल भेजे जाएंगे।

लॉ’कडा’उन लगाए गए चार थाना क्षेत्र में आने वाले नेशनल हाईवेज़ पर ट्रेफिक चलता रहेगा उसको रोकने का आदेश नहीं दिया गया है। साथ ही रेलवे और परिवहन निगम की सेवाएं पहले की तरह इन क्षेत्रों में चलती रहेंगी। लॉ’कडा’उन के दौरान ज़रूरी सेवाओं वाले सभी दफ़्तर खुले रहेंगे। लॉ’कडा’उन में आवश्यक सेवाओं से संबंधित अधिकारी-कर्मचारी को आने जाने की इज़त है। और सभी तरह के एक्सप्रेसवे, बड़े पुल, सड़कें और लोक निर्माण विभाग के बड़े निर्माण, सरकारी भवन और निजी प्रोजेक्ट पर पहले की तरह काम किया जा सकता है। जिलाधिकारी अभिषेक प्रकाश द्वार लॉ’कडा’उन के दौरान ग्रेटर कैंटोनमेंट जोन में शामिल इन चार थाना क्षेत्रों में मजिस्ट्रेट और पु’लिस अधिकारियों की स्पेशल ड्यूटी लगाई गई है। इन इलाकों पर मजिस्ट्रेट व पु’लिस अधिकारियों द्वारा कड़ी नज़र रखी जाएगी। पु’लिस टीमों और यूपी 112 द्वारा लॉ’कडा’उन वाले इलाके में नज़र रखने के लिए पेट्रोलिंग भी करवाई जाएगी।
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उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार की शाम को लखनऊ की स्थिति को लेकर सीएमओ और डीएम के साथ समीक्षा बैठक की। इस बैठक में मुख्यमंत्री मौजूदा व्यवस्था से ख़ासा नाराज दिखे। मुख्यमंत्री द्वारा कहा गया कि, 15 मिनट के अंदर संक्र’मित म’रीज के पास मैसेज पहुंचे और एक घंटे के भीतर उसे एडमिट कराया जाए। मुख्यमंत्री के साथ बैठक से लौटने के बाद जिलाधिकारी लखनऊ अभिषेक प्रकाश भी स’ख्त नजर आए। उन्होंने कहा कि, कोविड-19 में संक्रम’ण को रोकने, टेस्टिंग, कांटेक्ट ट्रेसिंग, हॉस्पिटल मैनेजमेंट, कंटेनमेंट जोन आदि गतिविधियों में लगाए गए अधिकारी और कर्मचारी कहीं भी शिथिलता करते पाए जाएंगे तो एपिडेमिक एक्ट की धारा 188 के अंतर्गत एफआईआर दर्ज होगी। साथ ही लाप’रवाही बरतने वाले सीधे जेल भेजे जाएंगे।