ममता बनर्जी के बयान पर कपिल सिब्बल का ट्वीट, बोले “कांग्रेस बिना UPA मतलब…”

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बुधवार 1 दिसंबर को पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मुंबई में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के सुप्रीमो शरद पवार से मुलाकात की, इस दौरान ममता बनर्जी ने UPA (संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन) को लेकर एक बयान दिया। इस बयान से अब वह कांग्रेस के निशाने पर हैं। ममता बनर्जी ने अपने बयान में कहा कि “अब यूपीए नहीं है।” बता दें कि इस बीच ममता बनर्जी से यूपीए को लेकर एक सवाल किया गया था। उनसे पूछा गया था कि क्या वो चाहती हैं कि शरद पवार को UPA का अध्यक्ष बनाया जाए? जिसके जवाब में उन्होंने कहा कि “क्या यूपीए? अब कोई यूपीए नहीं है? यूपीए क्या है? हम एक मजबूत विकल्प चाहते हैं।”

उनके इस बयान को कांग्रेस ने एक बड़ा मुद्दा बना दिया है। ममता की बातों का जवाब देने के लिए कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल ने एक ट्वीट किया है। जिसमें उन्होंने लिखा है कि “कांग्रेस बिना यूपीए मतलब ऐसा शरीर जिसमें आत्मा ही नहीं है। विपक्षी की एकता दिखाने का समय आ गया है।” अपने इस ट्वीट के जरिए कपिल सिब्बल ने ममता बनर्जी को कांग्रेस में यूपीए की अहमियत बताई है। गौरतलब हैं कि पहले तृणमूल कांग्रेस भी UPA का हिस्सा थी। लेकिन अब ममता ने कांग्रेस पार्टी से दूरी बना ली है और खुद को यूपीए से अलग कर लिया है।

बता दें कि कपिल सिब्बल से पहले कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी ने ममता बनर्जी के बयान पर हमला बोला था। उन्होंने एक बयान जारी कर ममता बनर्जी के भाजपा के समर्थक होने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि “क्या ममता बनर्जी नहीं जानती कि यूपीए क्या है? मुझे लगता है कि उन्होंने पागलपन शुरू कर दिया है। उन्हें लगता है कि पूरे देश ने ममता ममता चिल्लाना शुरू कर दिया है। लेकिन भारत का मतलब सिर्फ बंगाल नहीं, बंगाल का अकेले का मतलब भारत नहीं।” उन्होंने आगे कहा कि “यूपीए सरकार में ममता बनर्जी की पार्टी के 6 मंत्री थे। ममता बनर्जी ने कुछ कारण बताकर 2012 में समर्थन वापस ले लिया। वे उस वक्त यूपीए सरकार तोड़ना चाहती थीं। लेकिन वे सफल नहीं हो सकीं। यह उनकी पुरानी साजिश है। अब उन्होंने एक बार फिर इसे शुरू कर दिया है, क्योंकि मोदी जी उनके पीछे खड़े हैं। इसलिए वे कांग्रेस को कमजोर करने के सभी प्रयास कर रही हैं।”